
नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में नाचन क्षेत्र के गड़ाहरी में 18 करोड़ रुपये की लागत से एचपीएमसी का मंडी जिला में पहला कंट्रोल एटमॉस्फेयर स्टोर शुरू हो गया है। इस अत्याधुनिक सुविधा के शुरू होने से अब जिले के सेब बागवानों को बड़ी राहत मिलने की उम्मीद है। इस सीए स्टोर की भंडारण क्षमता 500 मीट्रिक टन है जबकि पहली बार 370 मीट्रिक टन सेब इसमें स्टोर कर दिया गया हैं। सेब को नियंत्रित तापमान और आर्द्रता में सुरक्षित रखने की यह तकनीक उसकी गुणवत्ता को लंबे समय तक बनाए रखने में मदद करेगी।
बागवानी कारोबार को नई दिशा मिलेगी
एचपीएमसी ने इस स्टोर को लीज पर निजी प्रबंधन को सौंप दिया है। इस परियोजना की नींव पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की सरकार के कार्यकाल में रखी थी। अब यह योजना धरातल पर उतरने से क्षेत्र में बागवानी कारोबार को नई दिशा मिलेगी। स्थानीय बागवानों ने इस सुविधा के शुरू होने पर प्रसन्नता जताते हुए कहा कि इससे सेब की गुणवत्ता और बाजार मूल्य दोनों में सुधार होगा। उधर, ब्रांच मैनेजर सन्नी कुमार ने बताया कि गड़ाहरी सीए स्टोर में 370 मीट्रिक टन सेब भंडारण किया जा चुका है। यहां सेब की ग्रेडिंग, पैकिंग और भंडारण की सुविधा उपलब्ध रहेगी।
क्या होता है सीए स्टोर
यह सेब और अन्य फलों को लंबे समय तक ताजा और गुणवत्तापूर्ण बनाए रखने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली एक अत्याधुनिक कोल्ड स्टोरेज तकनीक है। सामान्य कोल्ड स्टोर में सिर्फ तापमान ठंडा रखा जाता है, लेकिन सीए स्टोर में चार चीजों को नियंत्रित किया जाता है। तापमान लगभग शून्य डिग्री के आसपास रखा जाता है ताकि फल पकें नहीं। हवा में ऑक्सीजन की मात्रा घटाई जाती है। कार्बन डाइऑक्साइड बढ़ाई जाती है ताकि फल सड़ने या गलने से बचें। नमी नियंत्रित रखी जाती है ताकि फल की सतह सूखे नहीं।