
नई दिल्ली। दिल्ली में हवा इस समय काफी खराब है। एक तरफ जहां उत्तर भारत ठंड की मार झेल रहा है, तो वही दिल्ली ठंड के साथ-साथ प्रदूषण की मार भी झेल रही है.आनंद विहार, गाजीपुर, इंडिया गेट और कर्तव्य पथ, आईटीओ और अक्षरधाम मंदिर जैसे इलाकों में कोहरे की चादर ने सूरज की रोशनी को भी थोड़ा हल्का कर दिया है। दिल्ली की बदतर होती हवा अब लोगों को मुश्किल फैसले लेने पर मजबूर कर रही है।
दिल्ली छोड़ रहे लोग
यह कहानी अब सिर्फ एक, दो परिवार की नहीं रही। पिछले हफ्ते सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हुई, जिसमें एक प्रोफेशनल ने बताया कि उनकी पत्नी ने बच्चे की सेहत के डर से दिल्ली की प्रदूषित हवा छोड़ने के लिए एक प्रतिष्ठित सरकारी नौकरी तक छोड़ दी। इस पोस्ट ने दिल्ली-एनसीआर की असुरक्षित हवा को लेकर लोगों के भीतर दबी हताशा और बेचैनी को बाहर ला दिया।
सबके लिए आसान नहीं
हालांकि, हर किसी के लिए शहर छोड़ देना इतना आसान नहीं है। जैसा कि एक यूज़र ने एक्स पर लिखा कि हर कोई जगह छोड़कर नहीं जा सकता। अधिकतर लोग नौकरी या मजबूरियों में बंधे होते हैं। असली ज़रूरत है सक्षम प्रशासन की और मजबूत नीतियों।
हवा जहर के समान
दिल्ली की हवा अब सिर्फ सांसों का सहारा नहीं, बल्कि परेशानी का भी सबब बन चुकी है। सुबह की पहली किरण के साथ जैसे ही धुंध शहर को अपने आगोश में लेती है।उसी के साथ इंसान के शरीर में जहर भी घुलता जा रहा है। हर गली, हर सड़क पर ऐसे छोटे और अदृश्य कणों का साम्राज्य फैला हुआ है, जो फेफड़ों में घुसकर जीवन की डोर को लगातार कच्चा करता जा रहा है।