
नई दिल्ली। कर्नाटक में सुपारी की कीमतों में बंपर उछाल आया है, जिससे व्यापारियों की अच्छी कमाई हो रही है। लेकिन किसान इस कमाई से वंचित हैं. क्योंकि किसानों ने पहले ही व्यापारियों के हाथ अपनी उपच बेच दी थी। ऐसे में रेट बढ़ने पर व्यापारी स्टॉक से सुपारी बेचकर उच्ची कीमत का फायदा कमा रहे हैं। शुक्रवार को होंनाली में रशी सुपारी का रेट 65,099 रुपये क्विंटल, होलालकेरे में 65,390 रुपये क्विंटल और टुमकोस मार्केट में 66,669 रुपये क्विंटल रहा. यह इस सीजन का सबसे ऊंचा भाव है।
7,500 रुपये प्रति क्विंटल
बिना भूसी वाली खड़ी सुपारी का भाव लगभग 7,500 रुपये प्रति क्विंटल है और व्यापारी सीधे बागानों में खरीद के लिए दौड़ रहे हैं। इस सीजन में कम उत्पादन और फसल की कमी ने कीमतों को बढ़ा दिया है। शिवमोग्गा, चन्नागिरी और अन्य प्रमुख क्षेत्रों में सुपारी की फसल को फल सड़न और पत्तियों की पीली बीमारी ने भी प्रभावित किया है। राज्य में सुपारी व्यापार मुख्यतः भिमासमुद्र, चन्नागिरी, शिवमोग्गा और सिरसी बाजारों पर निर्भर करता है। उत्तर भारत की पान मसाला कंपनियां इन बाजारों से सुपारी खरीदती हैं।
कीमत 80,000 रुपये प्रति क्विंटल तक भी जा सकती है
हर साल इस समय दावनागरे और चित्रदुर्ग से सुपारी बाजार में आती है, लेकिन इस सीजन में अत्यधिक बारिश के कारण वहां अभी तक सुपारी प्रोसेसिंग शुरू नहीं हुई है। IMD की भविष्यवाणी के अनुसार, इस क्षेत्र में और बारिश होने वाली है, जिससे सुपारी की मांग और आपूर्ति का हाल और जटिल हो गया है। कई बागानों में पानी जमा होने से फसल की पैदावार भी कम हुई है।