
नई दिल्ली। हरियाणा के किसानों के लिए बड़ी खुशखबरी है। दरअसल, हरियाणा के किसानों को अब धान की कटाई के बाद पराली जलाने की जरूरत नहीं पड़ेगी। ऐसा इसलिए क्योंकि राज्य के कृषि और किसान कल्याण मंत्री श्याम सिंह राणा ने बताया कि राज्य सरकार पराली और कृषि के अन्य अवशेषों का प्रबंधन करने के लिए "डीकम्पोजर वेटेबल पाउडर" का उपयोग करेगी। इससे जहां अवशेषों को जलाने से मुक्ति मिलेगी वहीं यह पाउडर भूमि की उपजाऊ शक्ति को बढ़ाने में भी सहयोगी साबित होगा।
किसानों को फ्री में मिलेगा पाउडर
कृषि मंत्री श्याम सिंह राणा ने बैठक के बाद जानकारी दी कि आज पूसा डीकम्पोजर वेटेबल पाउडर के 75,000 पैकेट की खरीद की अनुमति दी गई है। इन पैकेटों को किसानों को राज्य के किसानों को फ्री में उपलब्ध करवाया जाएगा। एक एकड़ में एक पैकेट के हिसाब प्रथम चरण की खरीद से राज्य में 75,000 एकड़ धान-क्षेत्र में फसल अवशेषों को प्रबन्धित किया जा सकेगा।
क्या है डीकम्पोजर वेटेबल पाउडर
"डीकम्पोजर वेटेबल पाउडर" एक पौधा संरक्षण एजेंट के रूप में भी काम करता है। ये पाउडर पराली, सब्जियों के अवशेष और अन्य कृषि कचरे को कुछ ही दिनों में विघटित करके उच्च क्वालिटी वाली खाद में बदल देता है। यह मिट्टी की उर्वरता बढ़ाता है और उसमें जैविक कार्बन की मात्रा में वृद्धि करता है। इसके अलावा मिट्टी में मौजूद कवक-जनित रोगों और कीटों को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। इसका उपयोग रासायनिक उर्वरकों की आवश्यकता को कम करता है, जिससे खेती की लागत घटती है।