
नई दिल्ली। राजस्थान के भीलवाड़ा जिले में रबी के सीजन की शुरुआत के साथ ही बागवान फूलों की खेती की तैयारी करना शुरू कर दिए हैं। आपको बता दें कि ठंड का मौसम फूलों की खेती के लिए बेहतर माना जाता है। गुलाब, गेंदा, रजनीगंधा, ग्लैडियोलस और कार्नेशन जैसे फूल इस मौसम में अच्छी पैदावार देते हैं। यही कारण है कि किसान अब कम लागत और अधिक मुनाफे वाली इस खेती को अपनाने लगे हैं, जिससे उनकी आय में वृद्धि होने की संभावना है।
रबी के मौसम में फूलों की बेहतर पैदावार
रबी के मौसम के दौरान तापमान में गिरावट और दिन-रात के संतुलित तापमान का असर फूलों की गुणवत्ता पर सकारात्मक होता है। गेंदा और गुलाब जैसी फसलें ठंडे मौसम में ज़्यादा दिनों तक ताज़ी रहती है। किसान खेत की मिट्टी को हल्की और जैविक खाद युक्त बना रहे हैं ताकि पौधों की जड़ों को पर्याप्त नमी मिल सके। उपयोग भी बढ़ रहा है. खेती के वैज्ञानिक तरीकों को अपनाने से किसान बेहतर उत्पादन के साथ फूलों की ताज़गी लंबे समय तक बनाए रख सकते हैं।
एक बीघा में 70 हजार रुपये की आमदनी
प्रदेश के भीलवाड़ा जिले के आसपास के बागवान गांवों में अब फूलों की खेती से अपना व्यावसाय चला रहे है। जिन गावों में बागवान फूलों की खेती कर रहे हैं, उनमें गुरला, मांडलगढ़ और गंगापुर जैसे गांव शामिल है। गेंदा और ग्लैडियोलस की खेती शादी-ब्याह के सीजन में सबसे ज्यादा मांग में रहती है। आर्थिक रूप से देखें तो, एक बीघा खेत में गेंदा की खेती करने पर करीब ₹20,000 से ₹25,000 तक का खर्च आता है, जबकि इससे ₹60,000 से ₹70,000 रुपये तक की आमदनी होती है।
जिला कृषि विभाग कर रहा है प्रोत्साहित
जिला कृषि विभाग फूलों की खेती करने वाले बागवानों को प्रोत्साहित कर रहा है। जिला कृषि विभाग की ओर से प्रशिक्षण शिविरों और कार्यशालाओं का आयोजन किया जा रहा है।जहाँ किसानों को फूलों की उन्नत किस्मों और बाज़ार में उनकी मांग के बारे में जानकारी दी जा रही है। विभाग के अधिकारी बताते हैं कि रजनीगंधा और ग्लैडियोलस जैसी फसलें कम रोगों से प्रभावित होती हैं।