Dr. Hariom and Dr. Ramchandra Sihag, two former scientists of Chaudhary Charan Singh Haryana Agricultural University, Hisar, have been selected for the Padmashree Award.

चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, के दो पूर्व वैज्ञानिकों को मिला पदमश्री अवार्ड

नई दिल्ली। चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय  हिसार के दो पूर्व वैज्ञानिकों डॉ. हरिओम व डॉ. रामचंद्र सिहाग का चयन पदमश्री अवार्ड के ल‍िए हुआ है।  बता दें कि डॉ. हरिओम ने प्राकृतिक खेती व डॉ. रामंचद्र सिहाग ने कृषि  विषय पर बेहतरीन काम किया था।

इन दोनों वैज्ञान‍िकों ने हजारों क‍िसानों के लिए स्वरोजगार इकाई को स्थापित करने में भी अपनी अहम भूमिका अदा की हैं। बता दें कि, डॉ. हरिओम ने 36 साल तक चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, हिसार में अपनी सेवाएं दीं है। वर्तमान में वे हरियाणा सरकार द्वारा संचालित परियोजना के तहत प्राकृतिक खेती विषय पर राज्य प्रशिक्षण सलाहकार के पद पर कार्य कर रहे हैं।

डॉ. हरिओम ने 10 हजार से अधिक किसानों एवं अन्य लोगों को प्राकृतिक खेती विषय पर ट्रेन‍िंग देकर उनको आत्मनिर्भर बनाया है। इसके अलावा उन्होंने देश के 500 से अधिक कृषि विज्ञान केंद्रों के आईसीएआर के वैज्ञानिकों को भी ट्रेंड किया है।  इसके अलावा डॉ. हरिओम नेपाल के 25 व्यक्तियों को भी ट्रेंड क‍िया। बीते साल उन्होंने  गुजरात के 60 क्लेक्टरों और डीडीओ को भी प्राकृतिक खेती विषय पर अहम जानकारियां दी थी।

दूसरी ओर, प्रो. रामचंद्र सिहाग अंतर्राष्ट्रीय स्तर के कृषि शिक्षाविद् हैं।  उन्होंने नवंबर 1979 से जनवरी 2012 तक चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, हिसार में विभिन्न पदों पर अपनी सेवाएं दीं डॉ. सिहाग के पास शिक्षण, अनुसंधान, शैक्षिक प्रबंधन व सरकारी संगठनों में काम करने का 40 वर्षों का अनुभव है। वे कृषि में भी कई शोध किए हैं।